मन्नू जी नाराज सुबह से
मन्नी जी हैरान परेशान
चाय बना कर ले आई
संग लाई ढेरों पकवान
सज धज कर खूब रिझाया
ना रीझे पतिदेव हुई हैरान
कुछ तो बोलो मिया जी मेरे
रूठ कर मत लो मेरी जान
क्या हुई तकरार किसी से
या बिगड़ा है कोई काम
फिर मन्नूजी ने बात बताई
सुनो मन्नी खोल कर कान
किया धरा सब ये है तुम्हारा
फुसला कर मत बनो महान
टेडी वियर दिवस था तुमने
दिया टेडी खूबसूरत सुहाना
चॉकलेट डे पर भी तुम लाई
स्वाद के उसके क्या कहना
रोज़ डे पर लाई रोज कितने
गिनती का नही ठिकाना
हग डे पर तुम गले मिली
बनाया नही कोई बहाना
सिलसिला तुमने ये जाने
क्यो बेदर्दी से तोड़ दिया
वुमनस डे पर कोई वुमन
उपहार में नही देकर तुमने
कर दिया मुझको बेगाना
कर दिया मुझको बेगाना
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